updatenews247.com धंनजय जाट सीहोर 7746898041- जनजातीय कार्य विभाग के विशिष्ट आवासीय विद्यालयों में प्रवेश के लिये ऑनलाइन आवेदन 06 दिसंबर से भरेजाने की प्रक्रिया प्रारंभ हो गई है। आवेदन की अंतिम तारीख 8 जनवरी 2024 (शाम 5 बजे तक) है। परीक्षा प्रवेश-पत्र 29 जनवरी को सुबह 10 बजे से डाउनलोड किये जा सकेंगे। परीक्षा 11 फरवरी 2024 को सुबह 10 से 12 बजे तक होगी। आवेदन प्रक्रिया- कक्षा 5वीं में अध्ययनरत जनजाति वर्ग, विशिष्ट पिछड़ी जनजाति (बैगा, भारिया या सहरिया), विमुक्त जनजातियाँ, घुमक्कड़ एवं अर्ध घुमक्कड़ समुदाय (DNT/NT/SNT) के अलावा वे बच्चे,
जिन्होंने अपने माता-पिता को वामपंथी उग्रवाद/उग्रवाद/कोविड आदि के कारण खो दिया है तथा विधवा की संतान, दिव्यांग माता-पिता की संतान, अनाथ या भूमिदाता (जिन्होंने विद्यालय भवन के निर्माण के लिए भूमि दान की हो) वर्ग के विद्यार्थी विभागीय वेबसाइट https://www.tribal.mp.gov.in/MPTAAS के माध्यम से ऑनलाइन आवेदन कर सकते हैं।मेरिट सूची में चयनित होने एवं न्यूनतम योग्यता प्राप्त करने वाले विद्यार्थी अपने विकल्प के अनुसार विद्यालयों में रिक्त सीट के विरूद्ध चयन के लिए पात्र होंगे।विशिष्ट आवासीय विद्यालयों में प्रवेश परीक्षा, विस्तृत गाइड लाइन एवं विद्यालयों की सूची तथा रिक्त सीटों के विवरण संबंधी विस्तृत जानकारी वेबसाइट https://www.tribal.mp.gov.in पर उपलब्ध है।
updatenews247.com धंनजय जाट सीहोर 7746898041- किसान भाई सदियों से गोबर से खाद बनाता आया है। कृषि विभाग के अधिकारी प्राकृतिक संसाधनों से जैविक खाद का अपयोग करने की सलाह लगातार दे रहे है अब किसान जानगये है ओर अब कई किसानों ने गौ-मूत्र और गोबर, पत्तों से खाद बना कर खेतों में उपयोग किया जा सकता है। हम सभी को प्राकृतिक खेती को बढ़ावा देने में अपनी भूमिका निभानी होगी।
प्राकृतिक खेती हम सभी के लिये लाभदायक है। किसान अपने खेत पर गोबर और गौ-मूत्र से खाद भी बनाया है। मध्यप्रदेश के किसान प्राकृतिक खेती कर रहे हैं। कई किसानों ने अपने खेत में प्राकृतिक खेती प्रारंभ की है। वे गोबर, गौ-मूत्र, मिट्टी, पत्ते, वनस्पति और गुण से जीवामृत बना रहे हैं। प्राकृतिक संसाधनों से खाद बनाने में लागत भी कम आती है और फसल में पैदावार भी अच्छी होती है। प्रदेश में प्राकृतिक उत्पाद की मांग बढ़ी है।