
updatenews247.com धंनजय जाट सीहोर 7746898041- भगवान शिव भरोसे के प्रतीक हैं और पार्वती श्रद्धा की प्रतीक हैं। श्रद्धा और विश्वास का सम्मिलन ही शिव और पार्वती का विवाह है। विवाह के उपरांत ही मां पार्वती शिव को प्रसन्न करती हैं और शिवजी श्री राम कथा प्रारंभ करते हैं। इसी से राम कथा और श्रीराम जी के जन्म दोनों का प्रत्यक्ष रूप से राम कथा सुनने और भगवान राम के जन्म के बाद दर्शन करने का अवसर मानव के जीवन में आता है। यही शिव और पार्वती के विवाह का धार्मिक व आध्यात्मिक पक्ष है। उक्त विचार शहर के रुकमणी गार्डन में

चित्रांश समाज और अखिल भारतीय कायस्थ महासभा सीहोर के तत्वाधान में जारी सात दिवसीय संगीतमय श्रीराम कथा के दूसरे दिन संत उद्ववदास महाराज ने कहे। देर रात्रि को जारी सात दिवसीय कथा के दौरान उन्होंने सती प्रसंग का विस्तार से वर्णन करते हुए कहाकि पति-पत्नी में भरोसा होना जरूरी है। सती ने भगवान शिव की बात नहीं मानी और अपने पिता के यहां पर यज्ञ में गई। इसके पश्चात राजा दक्ष ने भगवान शिव का अहंकार में आकर अपमान किया। मैना ने मैं ना कहा, मोल भयो दस बीस, बकरे ने मैं-मैं कहां,

कबीर कटायो सीस यह दोहा कबीर की शिक्षाओं को उजागर करता है कि कैसे एक व्यक्ति को अपने अहं और लोभ को त्याग देना चाहिए। इसका अर्थ यह है कि, जैसे बकरी मैं-मैं करती है, वैसे ही व्यक्ति को भी अपने अहं को त्याग देना चाहिए और कबीर की शिक्षाओं का पालन करना चाहिए। संत उद्ववदास महाराज ने कहाकि जो मनुष्य सच्चे मन से श्रीराम कथा का श्रवण कर लेता है, उसका लोक ही नहीं परलोक भी सुधर जाता है। मनुष्य जीवन बहुत दुर्लभ है और बहुत सत्कर्मों के बाद ही मनुष्य का जीवन मिलता है। भगवान शिव की भक्ति करने पर ही मां पार्वती को भगवान शंकर से विवाह करने का मौका मिला।

शिव विवाह का वर्णन करते हुए कहा कि पर्वतराज हिमालय की घोर तपस्या के बाद माता जगदंबा प्रकट हुईं और उन्हें बेटी के रूप में उनके घर में अवतरित होने का वरदान दिया। इसके बाद माता पार्वती हिमालय के घर अवतरित हुईं। बेटी के बड़ी होने पर पर्वतराज को उसकी शादी की चिंता सताने लगी। माता पार्वती बचपन से ही बाबा भोलेनाथ की अनन्य भक्त थीं। एक दिन पर्वतराज के घर महर्षि नारद पधारे और उन्होंने भगवान भोलेनाथ के साथ पार्वती के विवाह का संयोग बताया। उन्होंने कहा कि नंदी पर सवार भोलेनाथ जब भूत-पिशाचों के साथ बरात लेकर पहुंचे तो उसे देखकर पर्वतराज और उनके परिजन अचंभित हो गए, लेकिन माता पार्वती ने खुशी से भोलेनाथ को पति के रूप में स्वीकार किया।

updatenews247.com धंनजय जाट सीहोर 7746898041- थाना कोतवाली पुलिस ने घर से मोबाइल फोन व नगदी चोरी करने वाले चोरों को किया गिरफ्तार। घटना का संक्षिप्त विवरण- दिनांक 17.05.2025 को थाना कोतवाली में फरियादी मयूरी वर्मा निवासी बिजासन धाम कॉलोनी सीहोर ने रिपोर्ट किया कि दिनांक 15. 5.25 को कोई अज्ञात चोर मेरे घर के अंदर घुस कर मेरा सैमसंग कंपनी का मोबाइल चोरी कर ले गया है इसी प्रकार दिनांक 19.05.2025 को फरियादी राकेश सोलंकी निवासी अवधपुरी कॉलोनी में थाना कोतवाली में रिपोर्ट किया कि दिनांक 18.05.25 को दोपहर में वह अपने निजी काम से बाहर गया था

शाम को घर आया तो कोई अज्ञात चोर उसके घर के ताले तोड़कर नगदी ₹10000 एवं पासबुक चोरी कर ले गया है रिपोर्ट पर थाना कोतवाली में अपराध पंजीबद किया जाकर विवेचना में लिया गया। मामले की गंभीरता को देखते हुये श्रीमान पुलिस अधीक्षक महोदय दीपक शुक्ला, श्रीमान अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक महोदय सुनीता रावत, श्रीमान नगर पुलिस अधीक्षक महोदय निरंजन सिंह राजपूत के मार्गनिर्देशन में अज्ञात चोरों एवं मसरूका की पतारसी हेतु थाना प्रभारी कोतवाली के नेतृत्व में टीम का गठन किया गया। पुलिस द्वारा की गयी कार्यवाही- पुलिस टीम द्वारा दौरान विवेचना अलग-अलग टीम बनाकर घटना के आसपास के सीसीटीवी फुटेज चेक किए गए जिसमें कुछ संदिग्धों की आवा जाहि दिखाई दी जिनकी पतारसी हेतु

पुलिस द्वारा अपने मुखबिर मामूर कर संदेहीयो को मुखबिर की सूचना पर पकड़ा जिनसे नाम पता पूछने पर 1. मुजाहिद खान 2. उमेर शाह बताया जिनसे अपराध के बारे में पूछताछ करने पर आरोपियों द्वारा दिनांक 15.5.2025 को बिजासन धाम कॉलोनी से मोबाइल फोन चोरी करना एवं दिनांक 18 5 2025 को अवधपुरी कॉलोनी से एक घर के काले तोड़कर उसमें रखे नगदी रुपए चोरी करना स्वीकार किया जिन्हें पुलिस द्वारा मौके पर गिरफ्तार कर माननीय न्यायालय पेश किया। जप्त शुदा मॉल मशरूका। 1.एक सैमसंग कंपनी का मोबाइल 2.नगदी ₹2000 सराहनीय भूमिका- थाना प्रभारी रविन्द्र यादव, प्र.आर. पंकज यादव प्र.आर महेन्द्र सिंह मेवाडा,आर चंद्रभान सेन, आर विष्णु भगवान ठाकुर की विशेष भूमिका रही।

